Monday, June 23, 2025
Homeकुचामनसिटीकुचामन सिटी में मंदिर के महंत से करोड़ों की जमीन हडपने का...

कुचामन सिटी में मंदिर के महंत से करोड़ों की जमीन हडपने का प्रयास, पुलिस थाने में मामला दर्ज

- विज्ञापन -IT DEALS HUB

कुचामन सिटी के रघुनाथजी मंदिर के महंत रामनारायणाचार्य के साथ करोड़ों की जमीन हड़पने का एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है।

- विज्ञापन -image description

महंत ने कई लोगों के साथ थाने जाकर रिपोर्ट पेश कर आरोप लगाया है कि उन्हें धार्मिक कार्य के बहाने अजमेर बुलाकर सुनियोजित तरीके से डरा-धमकाकर फर्जी दस्तावेजों पर हस्ताक्षर करवाए गए और उनकी कीमती जमीन धोखे से हड़प कर पावर ऑफ़ एटार्नी करवा ली।

- विज्ञापन -image description
image description

दरअसल, महंत रामनारायणाचार्य (61) ने बताया कि 24 मई 2025 को एक परिचित ड्राइवर रामदेव शर्मा मंदिर आया और उसे बताया कि उसके मित्र प्रमोद सैनी के घर अजमेर में गृह शांति का हवन है, और उसमें उसे शामिल होना है। रामदेव मंदिर में नियमित आता-जाता था, जिससे भरोसा हो गया। रामनारायणाचार्य अपने बहनोई रामरतन शर्मा के साथ रामदेव की गाड़ी में अजमेर रवाना हो गए।

पुष्कर के पास स्कूटी पर महिला और युवक ने रोकी गाड़ी

28 मई 2025 को फिर रामदेव उन्हें प्रमोद सैनी को गुरु मंत्र देने के नाम पर अजमेर ले गया। रास्ते में बुढा पुष्कर और लीला सेवड़ी के बीच एक स्कूटी पर सवार महिला और युवक ने बार-बार उनकी गाड़ी को नहीं साइड दी।

- Advertisement -ishan

आखिरकार महिला ने गाड़ी रुकवाई, रामदेव को थप्पड़ मारा और जैसे ही महंत नीचे उतरे उन पर छेड़छाड़ का आरोप लगाते हुए हंगामा शुरू कर दिया। महिला ने खुद को पुलिस अधिकारी और अपने पति को भी पुलिस का उच्च अधिकारी बताया। कुछ ही देर में एक काली स्कॉर्पियो पहुंची, जिसमें वर्दीधारी लोग थे, पर वर्दी पर नेमप्लेट नहीं थी और गाड़ी पर भी कोई पुलिस चिह्न नहीं था।

कागजों पर हस्ताक्षर करवाए –  महंत ने बताया कि स्कॉर्पियो से आए लोगों ने उन्हें धमकाया कि जेल भेज देंगे। खुद को महंत बताने पर कहा गया कि “बस कागजों पर हस्ताक्षर कर दो, यहीं छोड़ देंगे।” डर के मारे उन्होंने कई खाली कागजों और एक रजिस्टर पर जबरन हस्ताक्षर और अंगूठा लगा दिया।

वकील के पास खुला राज

कुचामन लौटने के बाद 15 जून को उन्होंने यह बात अपने वकील श्यामसुंदर चौधरी को बताई। 20 जून को वकील ने उन्हें बुलाया और एक फर्जी पावर ऑफ अटॉर्नी की कॉपी दिखाई, जिसमें उनके नाम की जमीन को किसी और के नाम दर्शाया गया था। इस दस्तावेज में उनके फर्जी हस्ताक्षर व अंगूठे के निशान मिले।

महंत ने बताया कि उक्त दस्तावेज शिवराज सिंह ने 16 मई 2025 को मकराना में तैयार करवाया, जबकि उस दिन वे मकराना गए ही नहीं थे। स्टाम्प विक्रेता प्रभूराम से शिवराज सिंह ने यह स्टाम्प खरीदा था। इसमें गवाह बने लोगों को भी महंत नहीं पहचानते। इसमें सुरेन्द्र, शिवराज सिंह, पंकज व श्रवण की भूमिका संदेह के घेरे में है। 

महंत का कहना है कि यह गिरोह सुनियोजित तरीके से उनकी जमीन हड़पने की साजिश में शामिल है।

पुलिस से निष्पक्ष जांच की मांग – महंत रामनारायणाचार्य ने थानाधिकारी से पूरे प्रकरण की निष्पक्ष जांच करने, फर्जी दस्तावेज तैयार करने वाले गिरोह के खिलाफ कठोर कार्रवाई करने तथा जमीन की पुनः सत्यता सुनिश्चित कर उनकी संपत्ति को सुरक्षित करने की गुहार लगाई है।

जोधपुर में कार नाले में बही, कुचामन सिटी के व्यापारी और पत्नी सहित 3 की मौत

कुचामन सिटी में नगर परिषद और प्रशासन की लापरवाही से जनता परेशान

कुचामन सिटी में पहली बारिश में ही सड़कों की खुल गई पोल, जगह-जगह टूटीं

- Advertisement -
image description
IT DEALS HUB
image description
Physics Wallah
RELATED ARTICLES

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

- Advertisment -image description

Most Popular

Recent Comments

error: Content is protected !!