
कुचामन न्यूज: राजस्थान एटीएस के पुलिस महानिरीक्षक (IG) हेमंत शर्मा ने अपने दो दिवसीय दौरे के दूसरे दिन कुचामन सिटी पहुंचकर कानून-व्यवस्था की समीक्षा की और साफ संदेश दिया कि अपराध और अपराधियों के प्रति किसी तरह की नरमी नहीं बरती जाएगी।

इस दौरान उन्होंने पुलिस अधिकारियों और जवानों को जनता के प्रति संवेदनशील बनने और फरियादियों की शिकायतों को प्राथमिकता से निपटाने के स्पष्ट निर्देश दिए।


कुचामन में कानून-व्यवस्था की गहन समीक्षा
आईजी हेमंत शर्मा ने कुचामन सिटी स्थित वृताधिकारी कार्यालय और नावां थाना का निरीक्षण किया। उन्होंने थानों में दर्ज मामलों, लंबित परिवादों, केस डायरी, रजिस्टर, वारंट निष्पादन, गिरफ्तारी की स्थिति, महिला सुरक्षा, साइबर अपराधों और स्थानीय अपराधी गतिविधियों की विस्तार से समीक्षा की।
उन्होंने यह भी कहा कि पुलिसकर्मियों को न केवल कानूनी रूप से दक्ष होना चाहिए, बल्कि आम जनता से संवाद में विनम्रता और संवेदनशीलता भी जरूरी है। शिकायतकर्ताओं को बार-बार चक्कर न लगवाएं, बल्कि उनकी समस्या को प्राथमिकता पर सुनकर तुरंत कार्रवाई करें।
अपराधियों के लिए सख्त चेतावनी
मीडिया से बातचीत में आईजी शर्मा ने प्रदेश व देश विरोधी तत्वों को कड़ी चेतावनी देते हुए कहा कि
“जो लोग देश और प्रदेश की शांति को भंग करने की मंशा रखते हैं। उनके मंसूबों को राजस्थान पुलिस कभी सफल नहीं होने देगी। चाहे वे देश में हों या विदेश में, पुलिस उन्हें ढूंढकर बाहर निकालेगी और कानून के हवाले करेगी।”
उन्होंने दुबई से हाल ही में गिरफ्तार किए गए आदित्य जैन का जिक्र करते हुए बताया कि वह कुख्यात गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई और रोहित गोदारा से जुड़ा हुआ है। उसकी गिरफ्तारी राजस्थान पुलिस की अंतरराष्ट्रीय स्तर की कार्रवाई का उदाहरण है।
शर्मा ने उम्मीद जताई कि आदित्य से पूछताछ में कई बड़े खुलासे होंगे जो गैंगस्टर नेटवर्क को तोड़ने में मददगार साबित होंगे।
‘साइबर मित्र’ कॉन्सेप्ट की तैयारी
बढ़ते साइबर अपराधों को देखते हुए आईजी शर्मा ने कहा कि आमजन को साइबर सुरक्षा के प्रति जागरूक करना समय की आवश्यकता है। इसी दिशा में साइबर मित्र नाम की योजना पर विचार किया जा रहा है, जिसके तहत विभिन्न क्षेत्रों के जागरूक और प्रशिक्षित युवा आम लोगों को साइबर फ्रॉड से बचने की जानकारी देंगे। यह पहल पुलिस मित्र और सुरक्षा सखी जैसे नवाचारों की तरह काम करेगी, जो पहले से ही प्रभावी साबित हो रहे हैं।
पुलिस-सोसायटी समन्वय पर विशेष बल
आईजी शर्मा ने कहा कि अपराध पर प्रभावी नियंत्रण के लिए पुलिस और समाज के बीच समन्वय बेहद जरूरी है। उन्होंने शांति समिति, महिला सखी और सीएलजी (सिटीजन लॉयजन ग्रुप) जैसे प्लेटफॉर्म को और अधिक सक्रिय करने पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि जनता का विश्वास और सहयोग पुलिस की सबसे बड़ी ताकत है।
“समाज के सहयोग से ही अपराध मुक्त वातावरण तैयार किया जा सकता है। जब पुलिस और जनता साथ होते हैं, तब कोई भी अपराधी ज्यादा देर तक छुपा नहीं रह सकता।”
जनता से सहयोग की अपील
आईजी शर्मा ने आमजन से अपील की कि वे पुलिस का सहयोग करें और किसी भी संदिग्ध गतिविधि की जानकारी तुरंत पुलिस को दें। उन्होंने कहा कि आज की पुलिस तकनीक और सूचना पर आधारित कार्यप्रणाली की ओर बढ़ रही है, लेकिन इसमें समाज की भागीदारी भी उतनी ही जरूरी है।
निरीक्षण में मौजूद रहे अधिकारी
इस निरीक्षण के दौरान डीडवाना-कुचामन जिले के पुलिस अधीक्षक हनुमान प्रसाद मीणा, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक नेमीचंद, वृताधिकारी अरविंद विश्नोई और कुचामन थानाप्रभारी सतपाल सिंह भी मौजूद रहे।
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